लड़कियों की उच्च शिक्षा के लिए योजनाएं: जैसा कि हम सभी जानते हैं कि केंद्र सरकार और राज्य सरकार भारत की बेटियों के लिए कई तरह की योजनाएं लेकर आती रहती हैं। लेकिन बहुत कम लोगों को इन योजनाओं की जानकारी है। तो इसीलिए आपके आसानी से समझने के लिए हमने लड़कियों के लिए सरकारी योजनाओं को दो श्रेणियों में रखा है एक है लड़कियों के लिए केंद्र सरकार की योजनाएँ और दूसरी है लड़कियों के लिए राज्य सरकार की योजनाएँ।
लड़कियों की उच्च शिक्षा के लिए योजनाएं कोन-कोन सी है?
- बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ
- सीबीएससी छात्रवृति योजना
- नंदा गौरी देवी धन योजना
- मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना
- मुख्यमंत्री लाड़ली लक्ष्मी योजना
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ
बेटी बचाओ बेटी पढाओ एक सरकारी योजना है, जिसे भारत के प्रधान मंत्री द्वारा 22 जनवरी 2015 को हरियाणा के पानीपत जिले में शुरू किया गया था। केंद्र सरकार ने इस योजना को लड़कियों के लाभ के लिए शुरू किया है। ताकि लड़कियों के लिए समाज में बदलाव आ सके और समाज में लड़कियों के प्रति जो गलत नजरिया है उसे सुधारा जा सके।
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के उद्देश्य
केंद्र सरकार का मुख्य उद्देश्य लड़कियों के भविष्य को उज्ज्वल करना और लड़कियों को शोषण से बचाना भी है। कन्याओं को शिक्षा में प्रगति मिलेगी। लोग जागरूक होंगे कि महिलाएं हर क्षेत्र में भाग ले सकती हैं। क्योंकि हमारे देश के लोगों की सोच और परंपरा लड़का और लड़की में भेदभाव करने की है। वे बहुत कम या बिल्कुल भी लड़कियों को पढ़ाना नहीं चाहते हैं। इन्हीं कारणों से केंद्र सरकार ने इस योजना की शुरुआत की है। प्रधानमंत्री मोदी ने इस योजना का पहला नारा “बेटी बचाओ बेटी पढाओ” दिया था। ऑनलाइन आवेदन के लिए योजना की आधिकारिक वेबसाइट (https://wcd.nic.in) है।
- बच्चियों की रक्षा करना
- क्रॉस चाइल्ड मैरिज पर रोक।
- भ्रूण हत्या को रोकना।
- लड़कियों को शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ने दें।
- लड़कियों की शिक्षा पर जोर।
योजना में जरुरी पात्रताएँ
- बेटी की उम्र 1 साल से 10 साल के बीच होनी चाहिए।
- एक परिवार की केवल 2 बालिकाएं ही इस योजना का लाभ उठा सकती हैं।
- इस योजना में आवेदन करने के लिए बालिका के पास बीबीबीपी सुकन्या समृद्धि खाता होना जरूरी है।
योजना में जरुरी दस्तावेज़
- माता-पिता का आधार कार्ड
- बैंक पासबुक
- राशन कार्ड
- कन्या का आधार कार्ड
- पासपोर्ट साइज फोटो
- निवास प्रमाण पत्र
सीबीएससी छात्रवृति योजना
माध्यमिक शिक्षा के वरिष्ठ बोर्ड में पढ़ने वाली लड़कियां जो हाई स्कूल में 60% से अधिक अंक प्राप्त करती हैं, योजना का लाभ उठा सकती हैं। अन्यथा योजना का लाभ नहीं उठा पाएंगे। उन सभी लड़कियों को जो योजना के लिए पात्र होंगी उन्हें हर महीने 500 रुपये दिए जाएंगे, जो उनके खातों में जमा किए जाएंगे।
सीबीएससी छात्रवृति योजना उद्देश्य
सरकार ने इस योजना की शुरुआत इसलिए की ताकि आर्थिक रूप से कमजोर लड़कियों को आर्थिक सहायता मिल सके। और वे शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ सकते हैं, बेहतर भविष्य की ओर और कदम बढ़ा सकते हैं।
सीबीएससी छात्रवृति योजना पात्रता
- 10वीं कक्षा में 60% से अधिक अंक प्राप्त किए हों।
- लड़की सीबीएसई स्कूल की छात्रा होनी चाहिए।
- यह छात्रवृत्ति केवल उन्हीं छात्राओं को दी जाएगी जिनकी ट्यूशन फीस 1500 से कम है।
- यह स्कॉलरशिप केवल सिंगल गर्ल चाइल्ड को ही दी जाएगी।
नंदा गौरी देवी धन योजना
नंदा गौरी देवी धन योजना उत्तराखंड सरकार द्वारा जुलाई 2017 में शुरू की गई है। जिसे उनके अच्छे भविष्य के लिए शुरू किया गया है ताकि कोई भी बच्ची शिक्षा से वंचित न रहे। आर्थिक रूप से कमजोर बालिका लाभार्थी होगी।
राज्य में बीपीएल राशन कार्ड के तहत सामान्य वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और पिछड़ी जाति की लड़कियां लाभार्थी होंगी। इस योजना में लड़कियों के जन्म पर 11 हजार रुपये और 12वीं पास करने पर 51 हजार रुपये की राशि दी जाएगी।
नंदा गौरी देवी धन योजना उद्देश्य
राज्य में कन्या भ्रूण हत्या को रोकना है और समाज में उन्हें समान सम्मान देना है। उनका भविष्य सुरक्षित होगा क्योंकि लड़कियों को आर्थिक सहायता मिलेगी। इनके जन्म से लेकर विवाह तक का खर्चा प्राप्त होगा।
बालिका को 51 हजार रुपए दिए जाएंगे, जो सीधे बालिका बैंक में आएंगे। यह योजना लड़कियों को आत्मनिर्भर बनाएगी।
नंदा गौरी देवी धन योजना पात्रता
- लड़की का जन्म उत्तराखंड में होना चाहिए था।
- परिवार उत्तराखंड का मूल निवासी होना चाहिए।
- लड़की इंटरमीडिएट पास होनी चाहिए।
- उत्तराखंड राज्य का स्थायी निवास प्रमाण पत्र होना चाहिए।
- बालिका के सभी दस्तावेज उत्तराखंड के होने चाहिए।
- आवेदक बालिका अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग और वंचित वर्ग से संबंधित होनी चाहिए।
- बीपीएल राशन कार्ड में बालिका का नाम होना चाहिए।
नंदा गौरी देवी धन योजना आवश्यक दस्तावेज
- आवेदक बालिका का आधार कार्ड
- बालिका की हाई स्कूल एवं इंटर की मार्कशीट
- BPL राशन कार्ड
- 4 पासपोर्ट साइज फोटो
- राज्य का मूल स्थायी निवास प्रमाण-पत्र
- अनुसूचित जाति या जनजाति का प्रमाण पत्र
- वार्षिक आय प्रमाण पत्र
- मोबाइल नंबर
- ईमेल आईडी
- आवेदन करने वाली बालिका का बैंक अकाउंट पासबुक
मुख्यमंत्री लाड़ली लक्ष्मी योजना
1 अप्रैल, 2007 को मध्य प्रदेश सरकार ने राज्य में लड़कियों की शैक्षिक स्थिति में सुधार के लिए मुख्यमंत्री लाड़ली लक्ष्मी योजना शुरू की है। लाभार्थी लड़कियों को 1,18,000 रुपये की वित्तीय सहायता मिलेगी। योजना का लाभ केवल मध्य प्रदेश के मूल निवासी ही उठा सकते हैं।
मुख्यमंत्री लाड़ली लक्ष्मी योजना उद्देश्य
यह योजना राज्य में लड़कियों के लिए सकारात्मक सोच लाएगी और लिंगानुपात में बदलाव लाएगी। लड़कियों की शिक्षा और स्वास्थ्य में सुधार करना। कन्याओं का सशक्तिकरण और आर्थिक मजबूती मिलेगी। सरकार बालिका की शिक्षा में आर्थिक मदद करेगी और शादी के लिए परिवार को 1,00,000 रुपये की राशि भी देगी। यदि आपकी शादी 18 वर्ष की आयु से पहले हो जाती है, तो आपको योजना का लाभ नहीं मिलेगा। योजना में बालिका को जन्म के बाद 5 साल तक हर साल 6 हजार रुपये मिलेंगे।
योजना की किस्ते –
6th क्लास – 2,000
9th क्लास – 4,000
11th क्लास – 6,000
12th क्लास – 6,000 रूपये आएंगे।
लाड़ली लक्ष्मी योजना पात्रता
- केवल मध्य प्रदेश के लोग ही आवेदन कर सकते हैं।
- 18 साल की उम्र के बाद लड़की की शादी होने पर एक लाख की राशि दी जाएगी।
- जिन लोगों के नाम सूची में हैं, उन्हें इसका लाभ मिलेगा।
- अनाथ बालिका लाभार्थी होगी।
- गोद ली गई बालिका के लिए गोद लेने का प्रमाण पत्र होना चाहिए।
- आवेदन करते समय मध्य प्रदेश का स्थायी निवास प्रमाण पत्र होना चाहिए।
लाड़ली लक्ष्मी योजना के आवश्यक दस्तावेज़
- स्थायी निवास प्रमाण-पत्र
- आधार कार्ड
- बालिका का जन्म प्रमाण-पत्र
- बैंक पासबुक
- राशन कार्ड
- माता पिता का आधार कार्ड
निष्कर्ष
आज के इस आर्टिकल के माध्यम से हमने यह जाना की लड़कियों की उच्च शिक्षा के लिए योजनाएं, लड़कियों की उच्च शिक्षा के लिए कौन-सी योजनाएं है, जैसे की बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, सीबीएससी छात्रवृति योजना, नंदा गौरी देवी धन योजना। हम आशा करते है की यह आर्टिकल आपको पसंद आया होगा।